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Genomic Analysis 2.0: उत्तराखंड में USERC और देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित बायोइनफॉर्मेटिक्स प्रशिक्षण वर्कशॉप के प्रतिभागी |
विज्ञान शिक्षा एवं अनुसंधान केंद्र (यूसर्क) ने देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में 24 मार्च 2025 से विश्वविद्यालय परिसर में "हैंड्स-ऑन ट्रेनिंग ऑन बायोइनफॉर्मेटिक्स फॉर जीनोमिक एनालिसिस 2.0" विषय पर पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम की शुरुआत की। इस प्रशिक्षण का उद्देश्य उच्च शिक्षा में अध्ययनरत विद्यार्थियों को आधुनिक बायोइनफॉर्मेटिक्स तकनीकों में दक्ष बनाना है।
कार्यक्रम का उद्घाटन और उद्देश्य
कार्यक्रम का उद्घाटन यूसर्क की निदेशक प्रोफेसर (डॉ.) अनीता रावत द्वारा किया गया। उन्होंने बताया कि यूसर्क ने देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय परिसर में राज्य का पहला "यूसर्क सेंटर ऑफ एक्सीलेंस इन बायोइनफॉर्मेटिक्स" स्थापित किया था। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम इसी केंद्र के अंतर्गत आयोजित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि बायोइनफॉर्मेटिक्स न केवल जैव प्रौद्योगिकी और जीवन विज्ञान का भविष्य है, बल्कि यह चिकित्सा अनुसंधान, औषधि विकास और व्यक्तिगत जीनोमिक चिकित्सा के क्षेत्र में भी क्रांतिकारी परिवर्तन ला सकता है।
बायोइनफॉर्मेटिक्स का महत्व
प्रोफेसर रावत ने इस अवसर पर बताया कि बायोइनफॉर्मेटिक्स और जीनोमिक एनालिसिस का उपयोग मानव स्वास्थ्य सुधार, दवा विकास, और कृषि क्षेत्र में विशेष रूप से किया जा रहा है। उन्होंने इस पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्देश्य विद्यार्थियों के बीच एक्सपीरिएंशियल लर्निंग (अनुभव आधारित शिक्षण) को बढ़ावा देना बताया। यह कार्यक्रम छात्रों और शोधकर्ताओं को उन्नत जैव सूचना विज्ञान तकनीकों में दक्षता प्राप्त करने में मदद करेगा।
प्रतिभागियों और संस्थानों की सहभागिता
इस कार्यक्रम में प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालयों और उच्च शिक्षण संस्थानों के 25 छात्र-छात्राएं प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे हैं। प्रतिभागी संस्थानों में प्रमुख रूप से श्री देव सुमन विश्वविद्यालय ऋषिकेश परिसर, राजकीय महाविद्यालय डोईवाला, और देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय के छात्र शामिल हैं।
विशेष अतिथियों के विचार
कार्यक्रम में देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर प्रीति कोठियाल ने यूसर्क द्वारा आयोजित इस प्रशिक्षण कार्यक्रम को अत्यंत महत्वपूर्ण बताया। विश्वविद्यालय की प्रतिकुलपति डॉ. रितिका मेहरा, रजिस्ट्रार जनरल ओ. पी. सोनी, डीन रिसर्च एंड इनोवेशन डॉ. नवील अहमद, डॉ. निर्जरा सिंघवी, और अन्य शिक्षकों सहित 50 से अधिक लोग इस कार्यक्रम में उपस्थित रहे।
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इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के माध्यम से विद्यार्थियों को बायोइनफॉर्मेटिक्स के क्षेत्र में गहराई से समझ विकसित करने और व्यावहारिक ज्ञान प्राप्त करने का अवसर मिल रहा है। भविष्य में भी यूसर्क इस तरह के प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन कर विद्यार्थियों और शोधकर्ताओं को नवीनतम तकनीकों से जोड़ने का कार्य करता रहेगा।
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