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शनिवार, 6 जून 2020

Thank you Sonu : विधानसभा अध्यक्ष हुए सोनू सूद के मुरीद , मुख्यमंत्री ने दिया उत्तराखण्ड आने का न्यौता, जाने क्या है पूरी खबर।। Web News।।


सोनू सूद प्रवासियों के लिए बने मसीहा।

बॉलीवुड एक्टर सोनू सूद इन दिनों प्रवासी मजदूरों को बस ट्रेन और हवाई जहाज से उनके ग्रह राज्यों तक पहुँचने की अनूठी पहल कर रहे है , हाल ही में सोनू सूद द्वारा मुंबई के लॉकडाउन में फंसे उत्तराखंड के कई प्रवासियों को भी शुक्रवार की सुबह हवाई जहाज से जॉलीग्रांट देहरादून भेजा गया। आम जन मानस के साथ साथ सरकारें भी सोनू सूद के इस कार्य की तारिफ कर रही है ।

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सोनू सूद का आभार प्रकाट करते हुए उत्तराखंड आने का न्यौता दिया

आज फिल्म अभिनेता श्री Sonu Sood जी से फोन पर बात की तथा मुंबई से हमारे प्रवासी भाई-बहनों को उत्तराखंड भेजने में मानवता भरे सहयोग के लिए उनका आभार व्यक्त किया। उन्होंने तथा उनके जैसे कई धार्मिक, सामाजिक संगठनों ने विभिन्न प्रदेशों के प्रवासियों को मुम्बई तथा देश के अन्य राज्यों से उनके घर भेजने में जो योगदान दिया वह बेहद ही सराहनीय है और उन सभी का मैं हृदय की गहराइयों से आभार प्रकट करता हूं। सरकार और समाज का सहयोग ही हमें इस वैश्विक महामारी को हराने में बेहद मददगार साबित होगा। सूद जी को इस वैश्विक संकट के पश्चात उत्तराखण्ड आने का न्यौता भी दिया। सूद जी ने उत्तराखण्ड में फ़िल्म बनाने को लेकर भी काफी रुचि दिखाई। मेरे द्वारा इसमें उन्हें हर सम्भव मदद के लिए आश्वस्त किया गया।

विधान सभा अध्यक्ष प्रेम चन्द अग्रवाल सोनू सूद के हुए मुरीद

बॉलीवुड एक्टर सोनू सूद इन दिनों प्रवासी मजदूरों के मसीहा के तौर पर सामने आए हैं। सोनू सूद द्वारा मुंबई के लॉकडाउन में फंसे उत्तराखंड के कई प्रवासियों को भी शुक्रवार की सुबह हवाई जहाज से जॉलीग्रांट देहरादून भेजा गया।अभिनेता सोनू सूद की इस दरियादिली से उत्तराखंड के लोगों के साथ हम भी उनके मुरीद हो गये हैं। अभिनेता के कार्यों की सराहना करते हुए उनका आभार व्यक्त किया है।इस अवसर पर कहा है कि जब से देश में कोरोना वायरस ने दस्तक दी है, तभी से रोजी रोटी के लिए गांव से शहर में आए प्रवासी मजदूरों का पलायन जारी है। सोशल मीडिया के द्वारा लगातार सोनू सूद द्वारा प्रवासियों को दी जा रही मदद के कार्यों जानकारी सब को ही मिल रही है। कहा है कि ज्ञात हुआ है कि सोनू सूद अपने खर्चे पर हजारों लोगों को बसों ,ट्रेन एवं हवाई जहाज से अभी तक घर भेज चुके हैं और उनका ये काम जारी है। सोनू सूद द्वारा कोरोना वैश्विक महामारी के दौरान किया जा रहा मानवीय कार्य हम सब के लिए प्रेरणा है।फिल्म अभिनेता ने समाज के प्रति अपनी ज़िम्मेदारी निभाने का एक अनूठा उदाहरण प्रस्तुत किया है। बॉलीवुड अभिनेता सोनू सूद रियल सुपरस्टार की तरह सामने आए हैं।उनके महान प्रयासों के लिए सैल्यूट किया है।

पॉजिटिव वेब : चमोली जिले के 15 लोगों को डिस्चार्ज किया गया , जाने पूरी खबर।। web news ।।



चमोली जिले जीती बढ़ी जंग 15 कोरोना मरीज हुए ठीक ।


गोपेश्वर/चमोली ।।कोरोना महामारी के बीच शुक्रवार को जनपद चमोली के लिए एक बडी राहत भरी खबर भी रही। जिला अस्पताल गोपेश्वर से शुक्रवार को कोरोना से जंग जीतने वाले 15 लोगों को डिस्चार्ज किया गया। स्वास्थ्य कर्मियों ने ताली बजाकर इन सभी लोगों को अस्पताल से विदाई दी और कोरोना से बचाव रखने की शपथ दिलाई। स्वस्थ होकर जाते समय इन लोगों ने भी डॉक्टरों, कर्मचारियों एवं पूरे प्रशासन के सेवा भाव के लिए शुक्रिया अदा कर अभार व्यक्त किया।

कोरोना संक्रमित पाए जाने पर इन सभी मरीजो को कोविड हेल्थ सेंटर गोपेश्वर के आइसोलेशन वार्ड में भर्ती कर उपचार दिया गया। पूरी तरह स्वस्थ होने पर शुक्रवार को इन लोगों को अस्पताल से डिस्चार्ज किया गया। अस्पताल से इन सभी लोगों को जरूरी दवा और खुराक भी दी गई। इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ के के सिंह, जिला चिकित्सालय के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ चुफाल सहित अस्पताल प्रशासन के चिकित्सक एवं कार्मिक मौजूद थे।

जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया ने इन सभी लोगों को अगले 14 दिनों तक अनिवार्य रूप से होम क्वारेटीन में रहने तथा नियमों का पूरी तरह से पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए है।

जिले में अभी तक कुल 27 कोरोना पाॅजेटिव केस सामने आए है। इसके अलावा 4 व्यक्ति जिनके सैंपल देहरादून में पाॅजेटिव पाए गए थे उनका इलाज भी कोविड हेल्थ सेंटर गोपेश्वर में चल रहा था। अस्पताल में भर्ती इन सभी कोविड संक्रमित मरीजों में से 15 लोगों को पूरी तरह से स्वस्थ होने पर शुक्रवार को डिस्चार्ज किया गया।

Proud moment : देहरादून के समाजसेवी स्वप्निल सिन्हा को गोरखपुर के सांसद रवि किशन ने किया सम्मानित , जाने क्या है पूरी खबर ।। web news up/uttrakhand ।।

Swapnil-sinha

उत्तराखण्ड के कोरोना योद्धा स्वप्निल को उतर प्रदेश के सांसद रवि किशन शुक्ला ने किया सम्मानित

कोरोना संक्रमण के समय संकटमोचन की भूमिका में समाज सेवी निस्वार्थ भावना से आगे आये है , देहरादून में जन जागरण अभियान समिति के संस्थापक अध्यक्ष स्वप्निल सिन्हा भी अपनी युवाओ की टीम के साथ संकट की घड़ी में समाज के प्रहरी के रूप में सामने आये।

कोरोना सक्रमण के बचाव के उपाय हो , युवाओ को लॉक डाउन के नियमों का पालन करते हुए अपने आस पास के जरूरत मंदों को हर सम्भव सहायता करने की बात हो या फिर स्वयं ही संकट में फसे लोगों की सहायता हो स्वप्निल सभी कार्यों में ततपरता से लगे रहे ।
मैं इस सम्मना को अपनी टीम को समर्पित करता हूँ, यह सम्मना मेरे लिए प्रेरणा का कार्य करेगा हम आगे भी इसी जोश के साथ आगे काम करते रहेंगे सांसद जी के आशीर्वाद का मैं आभारी रहूंगा , उनका आशीर्वाद आगे भी बना रहेगा और मुझे और अधिक बल के साथ समाज की सेवा करने के लिए प्रेरित करेगा , सांसद जी धन्यवाद-स्वप्निल सिन्हा,संस्थापक /अध्यक्ष,जन जागरण अभियान समिति देहरादून
समाज के प्रति संवेदना को उत्तर प्रदेश के गोरखपुर क्षेत्र के सांसद रवि किशन ने महसूस किया , समाज सेवी स्वप्निल के कार्यों पर सांसद ने मोहर लगाई व कोरोना योद्धा के सम्मना पत्र से सम्मानित कर यह भी सिद्ध किया कि निस्वार्थ भाव से किए गए कार्य पर सबकी नजर बनी रहती है ।


शुक्रवार, 5 जून 2020

कॉमेडी टैलेंट शो : उत्तराखण्ड के पहले डिजिटल टैलेंट शो से जुड़ी बॉलीबुड फेम भावना की भावनाएं , जाने क्या कहा की भावना ने।।web news ।।

Bhawna-barthwal

 बॉलीवुड फेम भावना बड़थ्वाल ने सोशल मीडिया में डिजीटल कॉमेडी टैलेंट शो "ये पड़ि बैका" का पोस्टर शेयर करते हुए समर्थन किया ।


KPG Film'z के उत्तराखण्ड का पहला "डिजीटल कॉमेडी टैलेंट शो" ये पड़ि बैका 1 जून को लॉन्च होने के कुछ दिनों में उत्तराखंड का चर्चित शो बन गया है, सोशल मीडिया में इस शो को भरपूर समर्थन मिल रहा है ।

एक ओर उत्तराखण्ड के उभरते कलाकार अपनी प्रतिभा दिखाने के लिए उत्साहित है तो दूसरी ओर उत्तराखण्ड ही नही बॉलीबुड के चर्चित हस्तियां इस शो को समर्थन देकर अपने प्रशंसको को इस शो से जुड़ने के लिए अपील भी कर रहे है।

उत्तराखण्ड फिल्मों वीडियो एलबमों की सुपर स्टार और अब बॉलीवुड में अपने अभिनय से मायानगरी मुम्बई में धमाल मचाने वाली भावना बड़थ्वाल ने भी डिजीटल कॉमेडी टैलेंट शो" ये पड़ि बैका का समर्थन करते हुए अपने प्रशंसकों के साथ शो का पोस्टर साझा करते हुए लिखा है
Dukh ki aesi ghadi mein jo aapko hasa dey wahi to asli insaan aur kalakaar hai aur agar aapmein ye hasaney ki kala hai to Es “”comedy talent hunt” mein aap sabka swagat hai -भावना बड़थ्वाल, उत्तराखण्डी एवं बॉलीवुड अभिनेत्री

Environment Day :पहाड़ का बदलता पर्यावरण और हाशिये पर पहाड़ी - सुमित बहुगुणा ।। Web news Uttrakahnd ।।



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पर्यावरण दिवस विशेष इस लेख में पहाड़ों में हो रहे बदलावों को पहाडी की नजरों से देखते है ।

उत्तराखंड जलवायु परिवर्तन और पर्यावरणीय बदलावों से हो रहे नुकसान का असर देखा जा सकता है उत्तराखंड की राजधानी देहरादून व अन्य मैदानी शहर वायु प्रदूषण के घेरे में तो पहले ही आ चुके हैं । किंतु आज चिंता यह है कि पहाड़ों में विकास के नाम पर हो रहे अंधाधुंध निर्माण कार्यो व पहाड़ी प्राकृतिक सम्पदाओं के निरंतर दोहन से ,वायु प्रदूषण जैसी गंभीर  समस्या ने पहाड़ों में भी जन्म ले लिया है । पहाड़ों में आज विभिन्न बांध परियोजनाओं के साथ बड़े पैमाने पर चल रहे निर्माण कार्यों ने हालात को और चिंताजनक बना दिया है । 2013 की केदारनाथ आपदा से तबाह संपूर्ण केदार घाटी में पुनर्निर्माण के कार्य जिस तेजी से गति पकड़ रहे हैं वह मनुष्यों का केदार घाटी पहुंचना सुगम कर देंगे परन्तु तेजी से हो रहा पर्यावरणीय नुकसान किसी आपदा से कम नहीं । विकास कार्यो को हमे SDG यानी सतत विकास के लक्ष्यों के आधार पर ही करना चाहिए ।

अंग्रेजों ने अपने समय में मसूरी, नैनीताल जैसे पहाड़ी कस्बे स्वच्छ पर्यावरण को देख कर बसाए ,साथ ही देहरादून शहर में शिवालिक और मध्य हिमालय से घिरी घाटी के स्वच्छ पर्यावरण को देखते हुए ही स्वप्निल बसेरे बनाए गए थे। इन जगहों को आज अलग अलग किस्म के प्रदूषणों की शिकार होते हुए देखा जा सकता है , सुहाने मौसम के लिए विख्यात दून अब धूल, धुएं और शोर की घाटी है। स्मार्ट सिटी के लिए नामित होने के साथ अब यहां विकास कार्यों ने जो गति पकड़ी है उससे प्रदूषण के स्तर का भी गति पकड़ना स्वाभाविक है। पहाड़ों से देहरादून पलायन कर घर बसाने की वजह से भी पिछले कुछ दशकों में यहां जनसंख्या में तेजी आई है साथ ही पड़ोसी राज्यों के लोगों द्वारा देहरादून की सरकारी जमीनों पर झुग्गी बस्तियां बसाने से भी जनसंख्या का बोझ राजधानी देहरादून पर पड़ा है।

ग्लेशियरों के तेजी से पिघलने पर चिंताएं जताई जा रही हैं , विद्वानों और विशेषज्ञों में इस बारे में बहुत मतभेद भी हैं। कुछ कहते हैं ग्लेशियरों का पिघलना असाधारण बात नहीं है सैकड़ों हजारों साल के बाद ग्लेशियरों का बनना बिगड़ना स्वाभाविक व प्राकृतिक घटनाएं है लेकिन कुछ पर्यावरणविद और वैज्ञानिक पुरजोर तौर पर मानते है कि ग्लेशियरों का पिघलना एक सामान्य घटना नहीं है और ये जलवायु परिवर्तन के सबसे बड़े सूचकों में से एक है। इन बहसों से दूर भी रहा जाए लेकिन एक सच्चाई तो यही है  कि पहाड़ों के मौसम अब पहले जैसे तो नहीं रहे,आजकल होने वाली बेमौसमी बारिश हम देख ही रहे हैं।

फसल की पैदावार का पैटर्न भी दिनप्रति दिन बदला है।
फसलों में गुणात्मक और मात्रात्मक गिरावट दोनों देखी जा सकती है । पलायन के चलते बड़े पैमाने पर पहाड़ी जमीन बंजर हो रही है । मानव शून्यता के समय में भी नया माफिया पनप गया है जो भविष्य के लिए निर्माण से लेकर पलायन तक एक बहुत ही संगठित लेकिन अदृश्य शक्ति के रूप में सक्रिय है , यह स्तिथि भी पहाड़ और पहाडी के लिए चिन्तादायक हो सकती है

पहाड़ के पर्यावरण के परिपेक्ष में इन घटनाओं को पहाड के लिए अच्छा नही माना जा सकता, कोविड 19 कोरोना वाइरस के चलते लॉक डाउन की स्थिति से पर्यावणीय सुधारों को सतत नही माना जा सकता न ही यह सत्य है । हरिद्वार में स्वछ गंगाजल और सहारनपुर से दिखायी देने वाली पहाडी आनंदित तो करती है लेकिन कितने समय यह स्थिति बनी रहेगी इसका आकलन करना भी कठिन है । पहाड़ियों की पहाड वापसी को रिवर्स पलायन से जोड़ कर देखा जा रहा है लेकिन पलायन की स्थिति पहले आयी ही क्यों और अगर आज समय पहाड़ियों के पहाड़ वापसी का आया है तो सिस्टम उनके लिए पहाड़ फ्रेन्डली कौन सी योजनाएं बना रहा है इन बातों की चिंता हमे प्रर्यावरण दिवस पर आवश्य करनी चाहिए ।

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लेखक- सुमित बहुगुणा "पहाड़ी"

परिचय- अध्यक्ष ( IT प्रकोष्ठ ), पहाड़ी पार्टी - PP , पर्यावरण कॉलमिस्ट, युवा राष्ट्रवादी लेखक, पहाड़वाद सोच की अवधारणा रखने वाले पहाड़ हितैषी, चम्बा-उत्तराखण्ड पेज के एडमिन, ऑनर एन्ड फाउंडर - The Retreat Restorent Harawala , Dehradun

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अन्य आर्टिकल-

जन्मदिवस विशेष: अमर हुतात्मा श्रीदेव सुमन ने टिहरी रियासत को राजशाही के बेड़ियों से मुक्ति दिलायी- विनय तिवारी ।।web news ।।

Biodiversity Day Special : जैव विविधता का असंतुलन है केदारनाथ जैसी त्रासदी - संदीप ढौंडियाल ।। web news uttrakhand ।।



आदेश : शनिवार और रविवार देहरादून बंद रहेगा, जाने क्या क्या खुलेगा ।।web news।।



सप्ताह में दो दिन देहरादून रहेगा बन्द ।


जनपद देहरादून में COVID-19 संक्रमित व्यक्तियों के संख्या बढ़ रही है, संक्रमण के प्रसार को रोकने हेतु सुरक्षात्मक उपाय करने के क्रम में जिलाधिकारी देहरादून ने Hd: Uttarakhand Epidemic Diseases, COVID-19 Regulations, 2020 Epidemic Diseases Act 1897 तथा आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 के अधीन प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए निर्णय लिया है कि नगर निगम, देहरादून क्षेत्रान्तर्गत सप्ताह में दो दिन प्रत्येक शनिवार एवं रविवार को सभी प्रतिष्ठान, दुकाने पूर्णतः बन्द रहेगी।

शनिवार एवं रविवार को अति आवश्यक सेवाएं उपलब्ध रहेगी ।

1- मेडिकल दवाओं की दुकानें।
2- डेरी (दूध, दही आपूर्ति करने वाली दुकानें)।
3- फल, सब्जी की दुकानें।
4- पेट्रोल पम्प।

इन नियमो का भी रखा जाएगा विशेष ध्यान

◆शुक्रवार की सांय 07 बजे से सोमवार की प्रातः 07 बजे तक लॉक डाउन का कडाई से अनुपालन कराया जायेगा।
◆अन्य दिवसों में सांय 07 बजे से अगले दिवस प्रातः 07 बजे तक पूर्व की भॉति व्यवस्था यथावत प्रभावी
रहेगा।

उपरोक्त लॉक डाउन सम्बन्धी आदेश का जन सुरक्षा के दृष्टिगत अनुपालन अनिवार्य होगा। उल्लंघन की स्थिति मे आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 व Uttarakhand Epidemic Diseases, COVID- 19 Regulations, 2020 Epidemic Diseases Act 1897 एवं भारतीय दण्ड संहिता तथा अन्य अधिनियमों की सुसंगत धाराओ के अन्तर्गत कार्यवाही कर दी जायेगी-डॉ0 आशीष कुमार श्रीवास्तव, जिला मजिस्ट्रेट, देहरादून

गुरुवार, 4 जून 2020

Vartul confrence : भारत आस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री के बीच वर्चुअल शिखर सम्मेलन, पढ़ें पूरी खबर ।।web news ।।


शिखर सम्मेलन के कुछ अंश

सबसे पहले मैं अपनी ओर से और पूरे भारत की ओर से ऑस्ट्रेलिया में COVID-19 से प्रभावित सभी लोगों और परिवारों के प्रति हार्दिक संवेदना प्रकट करना चाहूँगा। इस वैश्विक महामारी ने विश्व में हर प्रकार की व्यवस्था को प्रभावित किया है। और हमारे summit का यह डिजिटल स्वरूप इसी प्रकार के प्रभावों का एक उदाहरण है।

आपसे इस डिजिटल माध्यम से मिलकर मुझे ख़ुशी तो है ही, लेकिन थोड़ी निराशा भी है, क्योंकि हमें भारत में आपका गर्मजोशी से स्वागत करने का अवसर नहीं मिल पाया।पहले जनवरी में और फिर पिछले महीने हम आपकी भारत यात्रा का की प्रतीक्षा कर रहे थे, लेकिन दुर्भाग्यवश दोनों ही बार यात्रा स्थगित करनी पड़ी।हमारी आज की मुलाक़ात आपकी भारत यात्रा का स्थान नहीं ले सकती। एक मित्र के नाते, मेरा आपसे आग्रह है कि स्थिति सुधरने के बाद आप शीघ्र सपरिवार भारत यात्रा प्लान करें और हमारा आतिथ्य स्वीकार करें।

भारत-ऑस्ट्रेलिया संबंध विस्तृत होने के साथ-साथ गहरे भी हैं। और यह गहराई आती है हमारे shared values, shared interests, shared geography और shared objectives से।पिछले कुछ वर्षों में हमारे सहयोग और तालमेल में अच्छी गति आई हैं। यह सौभाग्य की बात है कि हमारे संबंधों की बागडोर का एक छोर आप जैसे सशक्त और visionary लीडर के हाथ में हैं।मेरा मानना है कि भारत और ऑस्ट्रेलिया के संबंधों को और सशक्त करने के लिए यह perfect समय है, perfect मौक़ा है।

अपनी दोस्ती को और मज़बूत बनाने के लिए हमारे पास असीम संभावनाएँ हैं।ये संभावनाएँ अपने साथ challenges भी लाती हैं। Challenges कि किस तरह इस potential को वास्तविकता में translate किया जाए, ताकि दोनों देशों के नागरिकों, businesses, academics, researchers, इत्यादि के बीच links और मज़बूत बने। कैसे हमारे संबंध अपने क्षेत्र के लिए और विश्व के लिए एक factor of stability बनें, कैसे हम मिल कर global good के लिए कार्य करें, इन सभी पहलुओं पर विचार की आवश्यकता है।

समकालीन विश्व में देशों की एक दूसरे से अपेक्षाएँ, और हमारे नागरिकों की हमसे अपेक्षाएँ बढ़ गई हैं। Democratic values को share करने के नाते, हम दोनों देशों का कर्तव्य है कि इन अपेक्षाओं पर खरे उतरें।इसलिए, वैश्विक कल्याण के मूल्य, जैसे लोकतंत्र, Rule of Law, Freedom, Mutual Respect, International Institutions का सम्मान, और पारदर्शिता आदि को uphold करना, और protect करना हमारी sacred responsibility है। यह एक प्रकार से भविष्य के लिए हमारी धरोहर है।आज जब अलग-अलग प्रकार से इन values को challenge किया जा रहा है, तो हम आपसी सम्बन्धों को मजबूत कर के इन्हें सशक्त कर सकते हैं।

भारत ऑस्ट्रेलिया के साथ अपने सम्बन्धों को व्यापक तौर पर और तेज़ गति से बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है। यह न सिर्फ़ हमारे दोनों देशों के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि Indo-Pacific क्षेत्र और विश्व के लिए भी आवश्यक है।मुझे प्रसन्नता है कि हमारे विभिन्न institutional dialogues हमारे संबंधों को और substance प्रदान कर रहें हैं। दोनों देशों के बीच निरंतर उच्च-स्तरीय exchanges भी हो रहें हैं। व्यापार और निवेश भी बढ़ रहा है।लेकिन मैं यह नहीं कहूँगा कि मैं इस गति से, इस विस्तार से संतुष्ट हूँ। जब आप जैसा लीडर हमारे मित्र देश का नेतृत्व कर रहा हो, तो हमारे संबंधों में विकास की गति का मापदंड भी ambitious होना चाहिए।मुझे बहुत प्रसन्नता है कि आज हम अपने द्विपक्षीय संबंधों को Comprehensive Strategic Partnership के रूप में upgrade कर रहे हैं।

वैश्विक महामारी के इस काल में हमारी Comprehensive Strategic Partnership की भूमिका और महत्वपूर्ण रहेगी। विश्व को इस महामारी के आर्थिक और सामाजिक दुष्प्रभावों से जल्दी निकलने के लिए एक coordinated और collaborative approach की आवश्यकता है।

हमारी सरकार ने इस Crisis को एक Opportunity की तरह देखने का निर्णय लिया है। भारत में लगभग सभी क्षेत्रों में व्यापक reforms की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है। बहुत जल्द ही ग्राउंड लेवल पर इसके परिणाम देखने को मिलेंगे।इस कठिन समय में आपने ऑस्ट्रेलिया में भारतीय समुदाय का, और ख़ास तौर पर भारतीय छात्रों का, जिस तरह ध्यान रखा है, उसके लिए मैं विशेष रूप से आभारी हूँ।

CGLA News : सरकार, सरकारी पुस्तकालयों को COVID माहमारी के समय updated करने के लिए वेबिनार श्रृंखला आयोजित कर रही है, जाने क्या है पूरी खबर ।।web news।।



केंद्र सरकार (केन्द्रीय सरकार का पुस्तकालय संघ )4 जून और 5 जून 2020 को वेबिनार की एक श्रृंखला आयोजित कर रही है ।


भारत में COVID कोरोना संक्रमण के समय सरकारी पुस्तकालयों के लिए रणनीति तैयार करने के लिए वेबिनार श्रृंखला की जा रही है 4 जून और 5 जून 2020 को वेबिनार की एक श्रृंखला आयोजित करती है।
वर्तमान में विश्व COVID-19 महामारी के एक महत्वपूर्ण चरण से गुजर रहा है। इस वायरस ने हमारे जीवन और आजीविका के लगभग सभी क्षेत्रों को खतरा और प्रभावित किया है। दुनिया भर में पुस्तकालयों की स्थिति को उभारने के लिए कड़ी मेहनत की जा रही है इसी कड़ी में सरकारी पुस्तकालयों के लिए रणनीति तैयार करने के लिए वेबिनार श्रृंखला की जा रही है ।

Series One

विषय-सरकारी पुस्तकालय और COVID 2019: कार्य के लिए एक रणनीतिक दृष्टिकोण (Government Libraries and the COVID 2019: A Strategic Approach to Work)

दिनांक और समय:

4 जून, 2020 को 12:00 से 1:30 बजे

Series tow

विषय - COVID-19 महामारी
सरकारी पुस्तकालयों के लिए एक मॉडल दिशानिर्देश का मसौदा तैयार करना (Towards Drafting a COVID-19 Pandemic Model Guideline For Government Libraries)

दिनांक और समय-

5 जून, 2020 सुबह 11:00 बजे से दोपहर 1:00 बजे तक

Up news: राष्ट्रीय राशन पोर्टेबिलिटी' योगी के up में जरूरतमन्दों को लाभ जाने क्या है पूरी खबर ।।web news।।

Yogi

उत्तर प्रदेश में 'राष्ट्रीय राशन पोर्टेबिलिटी' से उपभोक्ताओं को मिल रहा है लाभ ,

मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार प्रदेश के हर जरूरतमंद को खाद्यान्न उपलब्ध कराने का उत्तर प्रदेश सरकार का सतत प्रयास जारी है। खाद्यान्न वितरण की वस्तुस्थिति से अवगत होने के उद्देश्य से खाद्य आयुक्त, समस्त अपर खाद्य आयुक्त एवं समस्त विशेष सचिव गण विभिन्न क्षेत्रों में निरीक्षण कर रहे हैं।

अवरुद्ध प्रवासियों हेतु 'आत्मनिर्भर भारत योजना' अंतर्गत जून की पहली तारीख से 05 किलो खाद्यान्न प्रति व्यक्ति और 01 किलो चना प्रति परिवार, उचित दर विक्रेता द्वारा EPOS के माध्यम से वितरण प्रारंभ है।

20 मार्च से अब तक 11.5 लाख सामान्य स्थायी NFSA राशन कार्ड और 30 लाख से अधिक यूनिट पुराने NFSA कार्डों में जोड़कर भी प्रवासी/अवरुद्ध प्रवासी जनों को राशन प्रदान किया जा रहा है।

उत्तर प्रदेश में अब तक 1.58 लाख नए अस्थायी राशन ID बना कर 3.66 लाख प्रवासियों को 02 माह का राशन जून के दो चक्र साइकल में दिया जा रहा है। अब तक 26,450 प्रवासियों को अस्थायी राशन ID जारी कर राशन दिया जा चुका है।

01 जून से 11 जून तक, सामान्य वितरण चक्र में गेहूं और चावल दोनों प्रदान किया जा रहा है। अब तक 1.03 करोड़ परिवारों के 4.34 करोड़ लोगों को 2.48 लाख MT राशन (गेहूं और चावल) तथा 10,218 MT चना वितरण हुआ है।

उत्तर प्रदेश में 01 मई से 'राष्ट्रीय राशन पोर्टेबिलिटी' योजना लागू की गई है। अब तक 2.39 लाख अंतःजनपदीय,18,424 अंतर्जनपदीय लाभार्थियों ने राज्य स्तरीय पोर्टेबिलिटी का लाभ लिया। हरियाणा के 06 लाभार्थियों ने पोर्टेबिलिटी सुविधा का लाभ उठाते हुए राशन प्राप्त किया।

दिव्यांग/नि:शक्त जनों तथा हॉटस्पॉट में कम्प्लीट लॉकडाउन की स्थिति में राशन की होम डिलीवरी की जा रही है। अब तक 3,162 दिव्यांग/नि:शक्त जनों के परिवारों को राशन की होम डिलीवरी की गई है।प

पॉजिटीव वेब : ग्राम प्रधानों के खाते में 10-10 हजार -मुख्यमंत्री, जाने क्या है पूरी खबर ।।web news।।

Tsr

10-10 हजार रूपए की राशि ग्राम प्रधानों को क्वारेंटाईन की व्यवस्था के लिए दी ।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के निर्देश पर कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव व राहत कार्यों के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष से जिलाधिकारियों को स्वीकृत धनराशि में से 10-10 हजार रूपए की राशि ग्राम प्रधानों को क्वारेंटाईन की व्यवस्था के लिए दी जानी है। पूर्व में मुख्यमंत्री जी राहत कोष से कोरोना संक्रमण से राहत कार्यों के लिए 4 जिलों को 3-3 करोड रुपये और 9 जिलों को 2-2 करोड रुपये आवंटित किए गए थे। इस राशि से असंगठित क्षेत्र के बेरोजगार श्रमिकों को खाद्य सामग्री किट व अन्य आवश्यक सामग्री उपलब्ध करानी थी।

दिनांक 27 मई को जारी आदेश के अनुसार इस राशि का उपयोग कुछ अन्य कार्यों में भी करने की स्वीकृति दी गई है। जनपदों में फंसे छात्रों, पर्यटकों, अन्य बैसवारा लोगों के रहने व भोजन व्यवस्था आदि, क्वारेंटाईन सेंटरों में व्यवस्थाएं उपलब्ध कराने, प्रवासियों को राशन किट उपलब्ध कराने में भी जिलाधिकारी इस राशि का उपयोग कर सकेंगे। साथ ही उन्हें निर्देश दिये गये हैं कि ग्राम प्रधानों द्वारा क्वारेंटाईन सेंटर में की गई व्यवस्थाओं के लिए 10-10 हजार रुपये की राशि दी जाए।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के निर्देश पर स्वास्थ्य विभाग में उपलब्ध रिक्तियों को आउटसोर्स के माध्यम से 20 फरवरी 2021 तक रखे जाने के लिए जिलाधिकारियों को अधिकृत किया गया है।